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प्रश्न
भोर के दृश्य को देखकर अपने अनुभव काव्यात्मक शैली में लिखिए।
टीपा लिहा
उत्तर
भोर का उजियारा फैला मटमैले आकाश में,
सिंदूरी आँचल फैला मटमैले आकाश में,
लगता जैसे चाय चढ़ गई मटमैले आकाश में,
दूधिया से बादल फैले भोर के आकाश में,
मन हर्षित होकर नाच उठा देख भोर का रूप अनोखा।
मंदमंद-सी हवा चल रही, भोर के राज में।
shaalaa.com
जयशंकर प्रसाद
या प्रश्नात किंवा उत्तरात काही त्रुटी आहे का?