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सन यात-सेन के तीन सिद्धांत क्या थे? - History (इतिहास)

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Question

सन यात-सेन के तीन सिद्धांत क्या थे?

Answer in Brief

Solution

सन यात-सेन के नेतृत्व में 1911 में मांचू साम्राज्य को समाप्त कर दिया गया और चीनी गणतंत्र की स्थापना की गई। वे आधुनिक चीन के संस्थापक माने जाते हैं। वे एक गरीब परिवार से थे और उन्होंने मिशन स्कूलों से शिक्षा प्राप्त की जहाँ उनका परिचय लोकतंत्र व ईसाई धर्म से हुआ। उन्होंने डॉक्टरी की पढ़ाई की, परंतु वे चीन के भविष्य को लेकर चिंतित थे। उनका कार्यक्रम तीन सिद्धांत (सन मिन चुई) के नाम से प्रसिद्ध है। ये तीन सिद्धान्त हैं

  1. राष्ट्रवाद - इसका अर्थ था मांचू वंश-जिसे विदेशी राजवंश के रूप में माना जाता था-को सत्ता से हटाना, | साथ-साथ अन्य साम्राज्यवादियों को हटाना।
  2. गणतांत्रिक सरकार की स्थापना - अन्य साम्राज्यवादियों को हटाना तथा गणतंत्र की स्थापना करना।
  3. समाजवाद - जो पूँजी का नियमन करे और भूस्वामित्व में समानता लाए। सन यात-सेन के विचार कुओमीनतांग के राजनीतिक दर्शन का आधार बने। उन्होंने कपड़ा, खाना, घर और
    परिवहन, इन चार बड़ी आवश्यकताओं’ को रेखांकित किया।
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चीन - चीन में नए जनवाद की स्थापना : 1949-65
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Chapter 11: आधुनिकीकरण के रास्ते - अभ्यास [Page 259]

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NCERT History [Hindi] Class 11
Chapter 11 आधुनिकीकरण के रास्ते
अभ्यास | Q 4. | Page 259
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