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प्रश्न
'ईदगाह' कहानी के उन प्रसंगों का उल्लेख कीजिए जिनसे ईद के अवसर पर ग्रामीण परिवेश का उल्लास प्रकट होता है।
उत्तर
कहानी के प्रारम्भ में 'ईद' के अवसर पर उल्लास का दृश्य प्रकट किया है। रमज़ान के पूरे तीस रोज़ों के बाद ईद आई है। मनोहर, सुहावना प्रभात है। वृक्षों पर हरियाली व्याप्त है, खेतों में अजीब रौनक है, आसमान में लालिमा व्याप्त है, सूर्य भी प्यारा और शीतल लग रहा है। मानो प्रकृति भी ईद की मुबारकबाद दे रही है।
गाँव में हलचल है। ईदगाद जाने की तैयारियाँ हो रही हैं। किसी के कुरते में बटन नहीं है, पड़ोस के घर से सुई-तागा लेने दौड़ा जा रहा है। किसी के जूते कड़े हो गए है, उनमें तेल डालने के लिए तेली के घर भागा जाता है।
सबसे अधिक ख़ुशी बच्चों के चेहरे पर झलक रही है। वे ईदगाह पर लगने वाले ईद के मेले में जाने के लिए उत्सुक हैं। वे मेले में मिठाई तथा खिलौने खरीदने के लिए जमा किये पैसे गिन रहे हैं। इस प्रकार गाँव में सभी ईद के आने की ख़ुशी मना रहे हैं।
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